1882 तक आगरा कॉलेज के सभी विवरण सीधे इंग्लैंड की संसद को भेजे जाते थे

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आगरा। भारत के सबसे पुराने कॉलेजों में से एक आगरा कॉलेज 199 वर्ष पूरे कर 200 वर्ष में लग गया है। इसकी स्थापना 1823 में ग्वालियर के माधव राव पेशवा की सेवा में एक प्रसिद्ध संस्कृत विद्वान और ज्योतिषी पंडित गंगाधर शास्त्री जी द्वारा की गई थी। आगरा कॉलेज उत्तर भारत का सबसे पुराना और सबसे बड़ा शैक्षणिक संस्थान है। 1882 तक यह कॉलेज एक सरकारी कॉलेज था। 1823 से 1882 की अवधि के दौरान भारत के गवर्नर जनरल द्वारा इसकी शैक्षणिक गतिविधियों और प्रशासनिक समस्याओं के बारे में सभी विवरण सीधे इंग्लैंड की संसद को भेजे जाते थे। उक्त अवधि के सभी अभिलेख अभी भी भारत अधिकारी पुस्तकालय और अभिलेख विदेशी और सामान्य धन अधिकारी, लंदन में संरक्षित हैं। आगरा कॉलेज ने यूपी का फर्स्ट ग्रेजुएट तथा उत्तर भारत का प्रथम विधि स्नातक। शुरू में इसकी स्थापना प्राथमिक शिक्षा के लिए की गई थी, लेकिन बाद में इसे उच्च शिक्षा के लिए अपग्रेड कर दिया गया। 1883 तक इसे एक सरकारी कॉलेज के रूप में चलाया जाता था। शुरू में से आगरा कॉलेज कलकत्ता विश्वविद्यालय से संबद्ध था लेकिन इलाहाबाद विश्वविद्यालय की स्थापना के बाद यह उससे संबद्ध हो गया था। इसकी संबद्धता 1927 में आगरा विश्वविद्यालय (वर्तमान में डॉ. भीमराव अम्बेडकर विश्वविद्यालय, आगरा के रूप में जाना जाता है) को स्थानांतरित कर दी गई थी।

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