डॉ.अंबेडकर पर बनी रेयर फिल्म की खोज बहुत उचित समय पर की गई
डॉ बाबासाहेब आंबेडकर पर 1968 में बनी एक दुर्लभ शॉर्ट फिल्म को राष्ट्रीय फिल्म संग्रहालयद्वारा अधिग्रहित किया गया है। यह फिल्म मराठी भाषा में है, जिसका शीर्षक ‘महापुरुष डॉ. आंबेडकर’ है।इसका निर्माण जुलाई, 1968 में महाराष्ट्र सरकार के प्रचार निदेशक ने किया था। वहीं इसका निर्देशन नामदेव वटकार ने वाथकर प्रोडक्शन के बैनरतले किया था। 18 मिनट की इस शॉर्ट फिल्म के लिए संगीत प्रतिष्ठित संगीतकार दत्ता डावजेकर ने तैयार किया था। वहीं दिग्गज फिल्म कलाकार डेविड अब्राहम इस फिल्म केनैरेटर थे।नामदेव वटकार मराठी फिल्म उद्योग में एक कुशल अभिनेता एवं निर्देशक थे, जिन्होंने 1957 में सुलोचना अभिनीत फिल्म आहेर और 1956 में हंसा वाडकरअभिनित मुलगा जैसी फिल्मों का लेखन एवं निर्देशन किया था। इसके अलावा उन्होंने 1952 में पी. एल. देशपांडे के साथ राम गबाले की फिल्म गारधानी की कहानी भी लिखी थी।
एनएफएआई के निदेशक श्रीप्रकाश मगदूम ने कहा, “डॉ. बी. आर. आंबेडकर पर बनी इस फिल्म की खोज बहुत ही उचित समय पर की गई है, जब हम 14 अप्रैल को भारतीय संविधान के प्रमुख वास्तुकार की 130वीं जयंती मना रहे हैं। यह शार्ट फिल्म डॉ. आंबेडकर के जीवन की प्रमुख घटनाओं का काल्पनिक वर्णन करती है और इसमें उनके बाद के वर्षों के लाइव फुटेज भी हैं।”इस फिल्म में डॉ. आंबेडकर के बौद्ध धर्म अपनाने और उनकी नेपाल यात्रा के दृश्यों के साथ मुंबई के दादर चौपाटी में उनके अंतिम संस्कार के क्लोज-अप शॉट्स भी हैं। इस फिल्म की सिनेमैटोग्राफी मधुकर खामकर ने की। वहीं जी. जी. पाटिल ने इसका संपादन किया।
प्रकाश मगदूम ने आगे कहा, “यह फिल्म मूल रूप से 35 एमएमप्रारूप में बनाई गई थी, लेकिन हमने जिस रूप में इसे पाया है वह एक 16 एमएम की कॉपी है, जो संभवत: ग्रामीण क्षेत्रों में वितरण के लिए होगी। इस फिल्म की स्थिति मध्यम श्रेणी की है और हम इसे जल्द ही डिजिटल रूप देने की योजना बना रहे हैं, जिससे इस तक लोगों की पहुंच हो सके।”उन्होंने आगे कहा, “हम व्यक्तिगत संग्रहकर्ताओं एवंवितरकों सहित अन्य से अपील करते हैं कि वे आगे आकर एनएफएआई में फिल्मों या फुटेज को जमा करें, जिससे इन्हें संरक्षित किया जा सके।”