Agra College1 - भारत के ऐतिहासिक कॉलेज आगरा कॉलेज को हुए 200 वर्ष

भारत के ऐतिहासिक कॉलेज आगरा कॉलेज को हुए 200 वर्ष

आगरा कॉलेज भारत के सबसे पुराने कॉलेजों में से एक। की स्थापना 1823 में अपने समय के प्रसिद्ध संस्कृत विद्वान गंगाधर शास्त्री द्वारा की गई थी। कॉलेज की शुरुआत में, हेवेट और थॉम्पसन नामक दो बड़े छात्रावास थे। आगरा कॉलेज ने बड़ी तेज़ी से भारत के कोने कोने से छात्रों […]

मेरा टेसू यहीं अड़ा खाने को मांगे दही बड़ा, शायद आपको बचपन का गाना याद हो

( राजीव गुप्ता द्वारा ) आगरा। टेसू और झांझी की कहानी भारत की संस्कृति में बहुत ही महत्वपूर्ण है  जो हम सभी लोगों ने न केवल सुनी है बल्कि उसको गाया भी है । टेसू को शक्तिशाली पांडव भीम का पुत्र कहा जाता है, जिन्होंने चंबल क्षेत्र के एक क्षेत्र पर शासन […]

पिछले 73 सालों से आगरा के लोग खा रहे हैं देवीराम की स्वादिष्ट बेड़ई और जलेबी

आगरा। यदि आगरा की बेड़ई और जलेबी का नाम लेते हैं तो देवीराम का नाम सबकी जुबान पर सुनाई देता है। देवीराम की बेड़ई और जलेबी पिछले 73 सालों से आगरा के लोगों का पसंदीदा नाश्ता बनी हुई है। आगरा का ताजमहल पूरी दुनिया में मशहूर है ,किन्तु देवीराम की […]

आगरा में मानव और बंदरों के बीच बढ़ते संघर्ष पर कैसे हो काबू

आगरा । सकारात्मक दृष्टिकोण तथा धार्मिक अर्थों के बावजूद, मानव और बन्दरों के संघर्ष के मामले बढ़ रहे हैं। इस तरह का प्यार-नफ़रत का रिश्ता कई शहरों में दैनिक जीवन का हिस्सा बन चुके हैं । आगरा और दिल्ली जैसे शहरों में बंदरों के कारण जन जीवन बहुत कठिन हो […]

city station 5 730x399 - आगरा की पहचान है सिटी स्टेशन , सिटी वाक में बन रहा है पर्यटक आकर्षण केंद्र

आगरा की पहचान है सिटी स्टेशन , सिटी वाक में बन रहा है पर्यटक आकर्षण केंद्र

आगरा :रेलवे का आगरा के विकास में महत्वपूर्ण योगदान रहा है,विकास व विस्तार के इस क्रम में यहां उसकी अनेक परसंपत्तियां सृजित होती रही हैं । इसके इन्हीं स्ट्रैक्चरों में कई ऐसे हैं,जिनको संरक्षित किया जाना सामायिक दृष्टिकोण से आवश्यक है।आगरा पर्यटन प्रधान गतविधियों का केन्द्र है,स्वभाविक रूप से रेलवे […]

आगरा के लोगों की हर मर्ज की दवा कचौड़ी ,बेड़ई और जलेबी

आगरा- कहावत है कि आगरा के लोगों की नींद गर्म चाय के साथ कचौड़ी , बेड़ई तथा जलेबी खाये बिना नहीं खुलती है। कई बार लोग टेंशन या गुस्से में दिखते हैं, तो कोई न कोई कह ही देता है कि यार तुमने आज कचौड़ी , बेड़ई नहीं खाईं। आगरा […]